अयोध्या : मामला जनपद के थाना इनायत नगर क्षेत्र के ग्राम देवकली माफी से जुड़ा है 2 जुलाई 2023 को पॉक्सो द्वितीय जिला एवं सत्र न्यायाधीश नूरी अंसारी ने आरोपी को घटना मे नाबालिग पीड़िता के साथ दुष्कर्म और अपहरण की घटना मे दोषी मानते हुए सजा सुनाई है, घटना दिनांक 13/07/2016 की है रात्रि 11 बजे आरोपी विक्रम उर्फ़ सिन्टू चौहान पुत्र मिठ्ठू चौहान ने अपने सगे भाई दिलीप उर्फ़ पिंटू के साथ 14 वर्षीय नाबालिग बालिका को मोबाइल देने का झांसा देकर बुलाया और अपने भाई दिलीप उर्फ़ पिंटू के साथ मिलकर पीड़िता का अपहरण कर ले गया और अपने घर मे ले जाकर एक कमरे मे बंद कर दिया, पीड़िता ने अपने बयान मे न्यायालय को बताया था कि आरोपी सिन्टू की माँ उसे सुबह चाय मे नशीला पदार्थ मिलाकर देती थी जिसके बाद पीड़िता गहरी नींद मे सो जाती थी और आरोपी उसके साथ रोजाना दुष्कर्म करता था, 20/7/23 को आरोपी व उसका भाई पिंटू पीड़िता को दिल्ली ले जाने के लिए फैजाबाद (अयोध्या कैंट) रेलवे स्टेशन लेकर आये और दिल्ली जाने वाली ट्रेन मे बैठे थे अगले दिन जब ट्रेन गाजियाबाद रेलवे स्टेशन पहुचीं तब पीड़िता ट्रेन से उतरकर भाग निकली और रेलवे स्टेशन पर मौजूद गार्ड की मदद से गाजियाबाद मे काम करने वाले अपने जीजा को फोन कर बुलाया और उनके साथ उनके कमरे पर गई और अपने परिजनों को अपने साथ हुई घटना की जानकारी दी
और वापस आकर थाने पर घटना का प्रार्थना पत्र दिया लेकिन पुलिस द्वारा एफआईआर दर्ज नही की गयी जिसके बाद पीड़िता परिजनों के साथ वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अयोध्या के पास पहुँची, एसएसपी के आदेश के बाद पुलिस ने मुकदमा तो दर्ज कर लिया लेकिन, जाँच अधिकारी ने आरोप पत्र सिर्फ एक आरोपी विक्रम उर्फ़ सिन्टू के खिलाफ न्यायालय के समक्ष पेश किया जबकि मुख्य आरोपी का सहयोग करने वाले उसके भाई दिलीप उर्फ़ पिंटू और उसकी माँ समुद्रा देवी को बचाने के लिए विगत 10 वर्षो से जाँच को जारी रखा है, ये सिस्टम को रौद कर और कानून को ठेंगा दिखाकर अपने अनुसार चलाने वाली पुलिसिया कार्य प्रणाली का वास्तविक चेहरा है जो सिर्फ अपराधियों के सरक्षण के लिए ही काम करता है और पीड़ित न्याय की उम्मीद मे दर दर की ठोकरे खाते है यही कारण है कि पीड़िता को मिला न्याय अभी अधूरा है, दौरान विचारण मुकदमा पीड़िता की पैरवी कर रहे वरिष्ठ विद्वान अधिवक्ता मथुरा प्रसाद पाण्डेय ने न्यायालय मे जो तर्क व साक्ष्य पेश किये उसे न्यायालय ने पर्याप्त माना है और नाबालिग के साथ दुष्कर्म के मुख्य आरोपी को 7 वर्ष सश्रम कारावास और जुर्माने की सजा सुनाई है