अयोध्या: मामला धर्म क्षेत्र अयोध्या से जुड़ा है जहाँ महिलाओं की सुरक्षा को लेकर योगी सरकार सख्त कदम उठा रही है वही अयोध्या में उनके आदेशों की लगातार उड़ रही है जनपद में मनबढ़ मनचले हुड़दंगी सरकार को सीधे चुनौती दे रहे हैं और पुलिस प्रशासन बेसुध है थाना रुदौली क्षेत्र अंतर्गत ग्राम धौरहरा, के मजरे-रहीमगंज की रहने वाली पीड़िता श्रद्धा यादव पत्नी अमर चंद यादव के अनुसार दिनाँक 15 अगस्त 2024 को सुबह लगभग 10 बजे वह अपने घर मे काम कर रही थी तभी गाँव के दबंग आपराधिक तत्व जो मुस्लिम समुदाय से है परवाज पुत्र इश्तीयाक, अफजाल पुत्र इकबाल, दानिश पुत्र जुराब पीड़िता श्रधा को घर मे अकेली देख कर जबरन घर मे घुस गए और अश्लिल हरकत करने लगे
जिससे पीड़िता सहम गई , इज्जत बचाने के लिए पीड़िता के गुहार लगाने पर उसका देवर शिवकेश व सोनू आया और अपनी भाभी का बचाव करने लगा तब दबंगो ने शिवकेश व सोनू को लात घूसा व डंडो से जान लेवा हमला कर दिया और बेरहमी से मार मार कर लहू लुहान कर दिया पीड़िता के गुहार पर गाँव के और लोग आये और बीच बचाव करने लगे तो दबंगो ने उन्हे भी जान से मार देने की धमकी दी और मामला बढ़ता देख वहाँ से भाग गए, पीड़िता ने बताया की घटना की सूचना देने थाना रुदौली गयी लेकिन पुलिस ने उल्टे पीड़िता व पीड़िता के देवरों को थाने मे देर रात तक बिठाकर दबंगो के साथ सुलह कर लेने का दबाव बनाया पीड़िता के इनकार करने पर पुलिस ने BNSS की धारा -170 के तहत कार्यवाई करते हुए चालान कर दिया और मामले मे लीपापोती का प्रयास किया, लेकिन पुलिस ने आरोपियों पर रिपोर्ट नही दर्ज की, पीड़िता ने वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक से मिलकर लिखित प्रार्थना पत्र देते हुए घटना की आपबीती बताई, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अयोध्या में ने घटना को गंभीरता से संज्ञान मे लेते हुए पीड़िता को वैधानिक कार्यवाही का भरोसा दिलाया है लेकिन सोचना ये कि अयोध्या पुलिस लगातार अपराधियों के संरक्षण का काम क्यों कर रही है वह महिलाओं, बेटियों की सुरक्षा जिसे संवेदनशील मुद्दों पर सुलह का दबाव बनाकर अपराधियों का मनोबल क्यों बढ़ाती है और अब एसएसपी नैय्यर ने जो अपराधियों पर कार्यवाही का जो आश्वाशन दिया है उस पर क्या होता है