अयोध्या :अवध विश्वविद्यालय व शिक्षा माफिया के खिलाफ अपनी आवाज बुलंद करने वाले आरटीआई कार्यकर्ता/अधिवक्ता की मुश्किलें कम होने का नाम नही ले रही है कुछ दिनों पूर्व एक वीडियो जारी कर उन्होंने बताया था कि भ्रष्टाचारीयों का रसूख इतना बड़ा और अपराधियों का खेल इतना वृहद है कि इसमे शासन मे बैठे सत्ताधारी नेता, मंत्री, संत्री, जिलाधिकारी, एसपी, एसएसपी, पुलिसकर्मी, युनिवर्सिटी कर्मचारी तक शामिल है पीड़ित पवन पाण्डेय द्वारा इस शिक्षा व्यवस्था को खोखला करने वाले जहरीले सिस्टम के खिलाफ़ आरटीआई के जरिये आवाज उठाई गई थी,
ताकि लाखों छात्रों के भविष्य को उसका दुष्परिणाम ना झेलना पड़े, उन्होंने आरटीआई के आधार पर जिलाधिकारी से लेकर मुख्यमंत्री कार्यालय तक दर्जनों अधिकारियों के हाथ पैर जोड़े , प्रार्थना पत्र कर भ्रष्टाचारीयों के काले कारनामों की जानकारी दी और कार्यवाही की मांग की लेकिन भ्रष्टाचारीयों के रसूख के सामने उनकी एक नही सुनी गई उल्टे उन्हें कई फ़र्जी मुकदमो मे फ़सा दिया गया, उन्हें व उनके परिवार को लगातार जान से मारने की धमकी मिल रही है अधिकारियों द्वारा आत्महत्या के लिए उकसाया जा रहा है परिवार के साथ गाली- गलौच व अपमानित करने वाले कृत्य हो रहे है, यही भ्रष्टाचार के खिलाफ लडाई ही बड़ी वजह है जिसका खामियाजा उन्हे उठाना पड़ रहा है ,पीड़ित परिवार का कहना है कि उन्हें इतना परेशांन कर दिया गया है कि वह अब मानसिक रूप से टूट चुके है और आहत है, इस देश को भ्रष्टाचारी नौकरशाह चलाते है उनके खिलाफ़ आवाज उठाने वालों के खिलाफ सारी ताकत झोंक देते है जो ताकत उन्हें जनता के हितो की रक्षा के लिए दी गई है, भ्रष्टाचार का इतना बोलबाला है कि न्यायालय भी ऐसे अमानवीय आत्याचारो को संज्ञान नही लेता है वह भी सत्ता की कठपुतली बन चुका है ऐसी घटनाएं आम लोगों मे आक्रोश और जनता मे विद्रोह पैदा करती है क्योकि न्याय आज के दौर मे काल्पनिक कहानियों मे ही बचा है