प्रदेश में गहराता जा रहा है बिजली संकट, नही निकल सका कोई निष्कर्ष, जिद पर अड़े है विघुतकर्मी, आम लोगों के लिए अनिश्चितकालीन विपदा का समय

Thejournalist
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उत्तरप्रदेश : पिछले 40 घंटे से प्रदेश को विघुत संविदा कार्मिको द्वारा विघुत व्यवस्था बाधित कर बंधक बनाने का प्रयास किया गया है इसमें कोई संशय नही कि उनके द्वारा रखी गई मांगे उनके लिए व उनके परिवार के लिए आवश्यक है वो अपनी जान को जोखिम मे डालकर नौकरी करते है जबकि उसके एवज मे मिलने वाली तंख्वाह काफी कम है, लेकिन उसके लिए प्रदेश की निर्दोष जनता को प्रताड़ित करने के लिए विघुत व्यवस्था को ठप करना किसी भी लिहाज से सही नही है जिस सत्ता और सिस्टम के विरोध मे इस विरोध प्रदर्शन और हड़ताल की सुनियोजित योजना तैयार की गई थी उन पर इसका कोई असर नही होने वाला है अमीर हर तरह से सुविधा संपन्न है विघुत व्यवस्था ठप होने से उन्हे कोई फर्क पड़ने वाला नही है 

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परेशानी ग़रीब, बीमार, बच्चों और छोटे व्यापारियों को हो रही है हड़ताल लम्बी चलने का सीधा पर्याय है कि हड़ताली कर्मचारियों को उनके उच्च अधिकारियों की सह है जो संविदा कर्मी नही है और सरकार से ही तनख्वाह वसूल करते है इसके अलावा सरकार विरोधी तत्वों का इसमे शामिल होकर इस मामले को तूल देने से इंकार नही किया जा सकता है, सरकार व हाईकोर्ट के हस्तक्षेप व आदेश के बाद भी हड़ताली संविदा कर्मी वापस काम पर नही लौट रहे है इतने लंबे समय तक विघुत व्यवस्था बाधित होने पर इसे अघोषित आपातकाल भी माना जा रहा है शहरों मे पानी की बड़ी समस्या उत्पन्न हो गई है दो दिनों से मौसम मे बदलाव से गर्मी से थोड़ी राहत आम जनता को मिली है, प्रदेश व कई जिलों के कुछ हिस्सों मे विघुत व्यवस्था सुचारु रूप से चल रही है क्योकि वहाँ के कर्मचारी हड़ताल मे शामिल नही है लेकिन 70% हिस्सों मे कुछ उत्पाती कर्मिको द्वारा विघुत व्यवस्था को रोका गया है जिससे जनता मे बड़ा रोष पैदा हो रहा है इस तरह के मानवता विरोधी कृत्यो से विघुत कर्मचारियों के लिए जो आम लोगों मे सहनभूति थी वह भी समाप्त हो रही है ,विघुत आपूर्ति ठप होने से सरकारी काम काज पर कोई खास असर नही पड़ा लेकिन व्यापारियों को हानि हुई है जिससे सरकार को सीधे तौर पर नुकसान हुआ है ऊर्जा मंत्री लगातार निर्देश दे रहे है और हड़ताल को समाप्त कर काम पर लौटने की बात कह रहे है लेकिन हड़ताली कर्मचारियों पर इसका असर नही दिख रहा है कुछ कर्मचारियों व अधिकारियो पर मुकदमा पंजीकृत करने का भी आदेश दिया गया है साथ ही सभी हड़ताली कर्मिको को बर्खास्त करने की प्रकिया पर भी अमल किया जा रहा है

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