अयोध्या: जिले के ट्रेज़री कार्यालय मे तैनात अनुराग गुप्ता मुख्य कोषधिकारी/ट्रेज़री कार्यालय का तीन माह पूर्व ट्रांसफर हो चुका है उन्हे बदायूं जिले मे नियुक्त किया गया है लेकिन उन्होंने अभी तक बदायूं जाने की जहमत नही उठाई है अयोध्या जिले ही जमे हुए है स्थांतरण के सरकारी आदेश से उन्हे कतई फर्क नही पड़ता है, जबकि मुख्यमंत्री द्वारा पहले भी विभागों और अधिकारियों को निर्देशित किया जा चुका है कि स्थांतरण आदेश के 1 सप्ताह के भीतर अधिकारी व कर्मचारी उपरोक्त स्थान पर अपने पद को ग्रहण कर ले,
जिससे जनता को असुविधाओं का समाना ना करना पड़े, नौकरशाहों की मनमानी और गैर जिम्मेदाराना कार्य से जनता को परेशानी होती है लेकिन उन्हे ना इसकी परवाह है ना सरकारी आदेश की, सवाल ये है कि ऐसा क्या लाभ है जो अयोध्या जिले से जाना नही चाहते हैं अनुराग गुप्ता ? उनके खाली पड़े पद से बदायूं मे आम जन को जो समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है उनकी जिम्मेदारी किसकी है ? ,अधिकारियों की ऐसी करस्तानी कोई नई नही है सरकारी विभागों मे मनमानी करने वाले अधिकारियों की भरमार है कुछ के उपर उच्च अधिकारियों का अदृश्य हाथ होता है जिसकी सह पर वह अपनी मनमानी कर सकते हैं